यूरेनस या अरुण ग्रह सौर मंडल में सूर्य से सातवें नम्बर का ग्रह है। सौर मण्डल में चार ऐसे ग्रह है जिन्हें गैस दानव कहा जाता है, क्योंकि यहाँ मिटटी-पत्थर की जगह अधिकतर गैस है और इनका आकार बहुत ही बड़ा है। अरुण की बनावट वरुण से बहुत कुछ मिलती-जुलती है। अरुण और वरुण के वातावरण में बृहस्पति और शनि के तुलना में बर्फ़ अधिक है. पानी की बर्फ़ के अतिरिक्त इनमें जमी हुई अमोनिया और मीथेन गैसों की बर्फ़ भी है। इसलिए खगोलशास्त्री इन दोनों को “बर्फ़ीले गैस दानव” नाम की श्रेणी में डाल देते हैं। सौर मण्डल के सारे ग्रहों में से अरुण का वायुमण्डल सब से ठण्डा पाया गया है और उसका न्यूनतम तापमान 2240 सेण्टीग्रेड देखा गया है। इस ग्रह में बादलों की कई तहें हैं। मानना है के सब से नीचे पानी के बादल हैं और सब से ऊपर मीथेन गैस के बादल हैं। यह भी माना जाता है कि यदि किसी प्रकार अरुण के बिलकुल बीच जाकर इसका केन्द्र देखा जा सकता तो वहाँ बर्फ़ और पत्थर पाए जाते। आईये जानते है ऐसे रोचक अरुण ग्रह के बारे में …..

1. 13 मार्च 1781 में विलियम हरशल ने इसकी खोज की थी। अरुण को पृथ्वी से दूरबीन द्वारा देखा जा सकता है।
2. यह ग्रह आकार में तीसरा सबसे बड़ा ग्रह है तथा सूर्य से दूरी में सातवां स्थान पर है।
3. अरुण ग्रह शुक्र की तरह पूर्व से पश्चिम की ओर घूमता है।

4. यह सूर्य की परिक्रमा 84 वर्ष में एक बार कर पाता है और इसका घूर्णन काल 10 से 25 घंटे है।
5. यह अपने अक्ष पर लगभग 82° झुका हुआ है जिससे ये लेटा हुआ दिखाई देता है इसलिए इसे लेटा हुआ ग्रह कहा जाता है।
6. इसका आकार पृथ्वी से चार गुना बढ़ा है लेकिन इसे बिना दूरबीन के नहीं देखा जा सकता।

7. मीथेन गैस की अधिकता के कारण यह हरे रंग का दिखाई देता है।
8. अरुण ग्रह में शनि की तरह चारों ओर वलय पाए जाते हैं जिनके नाम – अल्फा, बीटा, गामा, डेल्टा एवं इप्सिलॅान।
9. इसके 21 उपग्रह है जिसमें प्रमुख हैं – मिरांडा, एरियल, ओबेरॅान, टाइटैनिया, कॅार्डेलिया,ओफेलिया इत्यादि।
10. अरुण और वरुण के वातावरण में बृहस्पति और शनि के तुलना में बर्फ अधिक है – पानी की बर्फ के अतिरिक्त इनमें जमी हुई अमोनिया और मीथेन गैसों की बर्फ भी है।